एस. जी. होम्स साहित्य मंच, वसुंधरा की काव्य-संध्या आयोजित
दो दर्जन कवियों ने अपनी कविताओं से किया व्यवस्था पर प्रहार
साहिबाबाद। एस. जी. होम्स सोसायटी, सेक्टर-3, वसुंधरा में एस. जी. होम्स साहित्य मंच ने पहली बार भव्य काव्य संध्या का आयोजन किया। इसमें दो दर्जन से अधिक कवियों ने सामाजिक-राजनीतिक व्यवस्था पर प्रहार किये। काव्य संध्या में डा. चेतन आनंद, डा. गुरविंदर बांगा, पीयूष कांति, डा. मनोज कामदेव, मयंक राजेश, जगदीश मीणा, नित्यानंद तिवारी, गिरीश सारस्वत, नीरजा चतुर्वेदी, ज्योति राठौर जैसे दिल्ली-एनसीआर के प्रसिद्ध कवियों और कवयित्रियों ने शिरकत की और अपने काव्य-पाठ से श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया। अर्चना सिंह ने अपने मधुर स्वर में माँ सरस्वती की वंदना गाकर कार्यक्रम को प्रारंभ किया। पीयूष कांति ने शानदार मंच संचालन किया। सोसायटी के उदीयमान कवि-कवयित्रियों कीर्ति श्रीवास्तव, रश्मि श्रीधर, श्याम नारायण श्रीवास्तव, नरेश शर्मा, जोगिंदर सिंह और योगेश्वर शर्मा ने भी अपनी सुंदर रचनाओं से श्रोताओं का दिल जीता। कार्यक्रम की अध्यक्षता गुरुगांव से पधारे डाॅक्टर गुरविंदर बांगा ने की। सोसायटी में साहित्य की अलख जगाने के लिए एस. जी. होम्स साहित्य मंच के संयोजक कवि पीयूष कांति के प्रयासों की सभी ने प्रशंसा की। आयोजक मंडल के सदस्यों प्रदीप चैबे, जितेन्द्र खुराना, ललित चैहान, अंकुर श्रीवास्तव, डा. अनिल कुमार, कंचन तिवारी, विशाल जैन, नितिन जैन तथा अन्य साथियों के प्रयासों की सराहना करते हुए कवि पीयूष कांति ने कहा कि इस दौर में साहित्यकार न होते हुए भी साहित्य के प्रति इतना प्रेम रखने के लिए आयोजक मंडल की जितनी सराहना की जाए कम है। पीयूष ने बताया कि एस.जी.होम्स साहित्य मंच के तत्वाधान में वर्षभर अनेक कार्यक्रम करने की योजना है। नई पीढ़ी में कविता के संस्कार पुनर्जीवित हों, इसी मकसद से कार्यक्रम का सुंदर समापन हुआ। अंत में तीन सुप्रसिद्ध साहित्यकारों प्रदीप चैबे, देवेन्द्र शर्मा इन्द्र एवं डा. शेरजंग गर्ग के निधन पर दो मिनट का मौन धारण कर कवियों व लोगों ने अपनी श्रद्धांजलि अर्पित की।
News Reporter

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